नवाचार अंगीकार से कृषि विकास एवं किसानों की आय में वृद्धि होगी : डॉ. यादव

काजरी में किसान नवाचार भ्रमण – खरीफ 2023 आयोजित

देखों समझो, विशवास करों फिर अंगीकार करों

जोधपुर। आईसीएआर-काजरी जोधपुर में काजरी में किसान नवाचार भ्रमण – खरीफ 2023 कार्यक्रम आयोजित हुआ। काजरी निदेशक डॉ. ओ.पी. यादव ने कहा कि कृषि के क्षेत्र में हो रहे नवाचारों को किसानों तक पहुँचाने के उद्धेश्य से किसानों को प्रत्यक्ष रूप से सीधे ही हरे-भरे खेतों में अवलोकन करवाया गया। खेतों में लहहाती फसलें देखों समझो, विश्वाश करों फिर अंगीकार करों।

डॉ. यादव ने कहा कि नवीन प्रौद्योगिकियां अपनाने से किसानों का समय पैसा और श्रम की बचत होती है तथा लाभ अधिक होगा। संस्थान द्वारा विभिन्न तकनीकियाँ कृषि प्रणालियाँ विकसित की गई है । संस्थान द्वारा तकनीकी हस्तान्तरण कार्यकर्मों के माध्यम से गाँव ढाणी तक पहुँचाने के लिए प्रयासरत है । किसान भी आगे आयें और तकनीकियाँ अपनाएं । जीवन्त प्रदर्शन देखने से उत्साह्वार्जन होता है नवाचारों को अपनाने की रुचि जागृत होती है ।
विभागाध्यक्ष एवं किसान नवाचार भ्रमण संयोजक डॉ.एस.पी.एस. तंवर ने कहा किसान नवाचारों को देखकर अपनी रूचि अनुसार किस्म का चयन कर सकेंगें साथ ही वैज्ञानिक भी इनकी रूचि के जानकर अपने शोध में आवश्यक बदलाव एवं शोध कार्य कर सकेंगें। शोध क्षे़त्रों में उन्नत कृषि वानिकी के मॉडल लगे हुए है। इन मॉडल में फसलों के साथ साथ अधिक सांगरी देने वाली खेजड़ी है। मालाबार नीम एवं अरडू जैसे उपयोगी वृक्ष लगे है। बागवानी के लिए अनार बेर अंजीर व ड्रेगन फ्रुट जैसे फलदार वृक्षों की उन्नत किस्में के बगीचें का भी अवलोकन करवाया गया । पशु पालकों हेतु थार पारकर नस्ल की गायें मारवाड़ी नस्ल की भेड़ बकरी उन्नत चारागा हने पियर घास कांटार हितथोर व सहजन के वृक्षों की उपयोगिता से अवगत करवाया ।पोषक पशु आहारबट्टिका बनाने की विधि भी बताई गई सौर उपकरण व एग्रीवॉल्टिक खेती से भी किसानों को रूबरू करवा गया। किसान परिवार एवं महिलाओं की आय बढाने के लिए कृषि प्रसंस्करण के अन्तर्गत्त निर्मित बाजरे के लड्डू चॉकलेट बिस्कीट आदि बनाने की विधि से रूबरू करवाया गया।
प्रधान वैज्ञानिक डॉं. राजवन्त कौर कालिया ने संस्थान की विभिन्न तकनीकियों के बारे में प्रदर्शनी कक्ष में जानकारी दी। प्रदर्शनी में उन्नत किस्म के बीज मूल्य संवर्द्धन उत्पादन, सौर संयत्र आदि प्रदर्शित किये
कार्यक्रम के आयोजन में डॉ. पी सी महाराणा, डॉ. एचएल कुशवाहाडॉं. दिपिका हंजोगडॉ. विपिन चौधरी डॉ. महेश कुमार डॉ. आर के कांकाणी डॉ. धीरज सिंह सुरेश कुमार सुनीता आर्य डॉ. सुमन्त व्यास डॉ. पी. सान्तरा राजवन्त कौर कालिया एवं उनकी टीम ने आयोजन में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।
किसानों से वार्ता एवं उनके विचार काजरी में किसान नवाचार भ्रमण खरीफ 2023 में आये किसान मेघाराम गांवडावरा ने कहा कि ऐसे आयोजन से किसानों को रूबरू जानकारी मिलती है तथा वैज्ञानिकों से सीधी बात चीत से कई शंकाओं का समाधान हुआ है। महिला किसान विमला सियाग एवं मंजू देवी गांव पाल भाटिलाई पुरोहिता ने कहा कि खूब वेरायटी देखने को मिली और फोटो भी खींचे जिसके अधिक फलियां एवं सिट्टे लगे हुए है उनके बीज लगायेंगें। सुमती चन्द एव बी एस बेहरा ने कहा कि गोशाला में गाय एवं बकरों की सेवा के लिए काजरी से नेपियर एवं धामणघास के बीज लेगये जिसके बहुत अच्छे परिणाम मिले। इससे जानवरों को सूखे चारे की जगह हरा पोषक चारा मिला। चारे के लिए जो अधिक खर्चा होता था उसकी बचत हुई। किसानों ने कार्यक्रम की सराहना की एवं संस्थान के निदेशक एवं वैज्ञानिकों को धन्यवाद ज्ञापित किया। मेले में 1200 किसानों महिलओं विधार्थियो ने भाग ।
किसानों ने इन खेतों का भ्रमण किया – फसल वाटिका वानिकी चरागाह बाजरा की विभिन्न किस्मों के प्रजनन कुमट केपेड़ सेगोंद उत्पादन मूंग मोठग्वार का बीज उत्पादन माला बारीनीम एवं आधारित कृषि वानिकी चरागाह हेतु उपयुक्त घासों की विभिन्न किस्मों डेयरी इकाई में थारपार नस्ल की किस्मों आदर्श जैविक फार्म शुष्क क्षेत्रों हेतु एकीकृत कृषि प्रणाली मॉडल समन्वित कृषि प्रणाली फलो उद्याकिनी वैकलिपक चारा क्षेत्र में सहजन, नेपियर, कांटार हितथोर फसल के साथ खेजड़ी रोहिड़ा बेर चारागाह हेतु उन्नत घासों के खेतों का भ्रमण किया ।

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