फलोदी जिले के 646 एवं जोधपुर जिले के 1179 गांवों का होगा कायाकल्प
रंग ला रहा झिलमिल जोधाणा अभियान
लूणी पंचायत समिति में जिलास्तरीय कार्यक्रम का शुभारंभ
जोधपुर। झिलमिल जोधाणा अभियान के तहत जिले को ओ.डी.एफ. प्लस घोषित करने के लिए पंचायत समिति लूणी में जिला स्तरीय कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। अभियान के तहत ठोस एवं तरल कचरा प्रबन्धन के तहत करवाये जाने वाले कार्यों से जिले की लगभग 25 लाख ग्रामीण जनसंख्या लाभान्वित होगी एवं गांव की गलियां स्वच्छ एवं सुन्दर होगी।
जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अभिषेक सुराणा ने बताया कि राज्य सरकार द्वारा दिसम्बर तक फलौदी जिले की कुल 646 एवं जोधपुर ग्रामीण जिले के 1 हजार 179 गावों को तरल कचरा प्रबन्धन में एवं 50 प्रतिशत गावों को ठोस कचरा प्रबंधन में ओ.डी.एफ. प्लस घोषित करने का लक्ष्य निधारित किया गया है।
उन्होंने बताया कि ओ.डी.एफ. प्लस में राजस्थान में द्वितीय स्थान प्राप्त कर 24 अगस्त 2023 को फलौदी जिले की कुल 07 पंचायत समितियों के 646 गांवां को ओ.डी.एफ. प्लस घोषित किया जा चुका है। इसी प्रकार राजस्थान में तृतीय स्थान प्राप्त कर 26 अगस्त 2023 को जोधपुर ग्रामीण जिले की कुल 14 पंचायत समितियों के 1 हजार 179 गांवों को ओ.डी.एफ. प्लस घोषित किया गया है।
उन्होंने बताया कि फलौदी जिले की कुल 646 एवं जोधपुर ग्रामीण की कुल 1 हजार 979 गांवों की विस्तृत कार्ययोजना तैयार कर जिला स्तर से अनुमोदन किया गया। पंचायत समिति स्तर पर राजस्व गांववार तैयार डीपीआर का अनुमोदन जिला स्तर से किया जाता है जिसमें स्वच्छ भारत मिशन के तहत 70 प्रतिशत एवं कर्न्वजेंस के तहत अन्य योजना की 30 प्रतिशत राशि उपयोग में लेकर डीपीआर तैयार की जाती है।
उन्होंने बताया कि डीपीआर अनुमोदन के उपरान्त 15 जुलाई 2023 तक सभी आवश्यक स्वीकृतियां जारी करवाने के लिए अभियान चलाया गया। इसके सघन मोनिटरिंग के लिए ग्राम पंचायत स्तर पर प्रभारी अधिकारी नियुक्त किये गये। प्रभारी अधिकारी के द्वारा कार्यों को समयबद्ध पूर्ण करवाकर उनकी जियोटेग किया जाना सुनिश्चित किया गया, जिसके फलस्वरूप समय पर ग्राम विकास अधिकारी एवं ग्राम सरपंच द्वारा हस्ताक्षरित प्रमाण पत्रों को पोर्टल पर अपलोड कर जिले को ओडीएफ प्लस घोषित किया जा सका।
उन्होंने बताया कि ओडी प्लस घोषित गांव में तरल कचरा प्रबंधन के तहत सोखता गड्डा, मेजिक पिट, लीच पिट, डब्लयू एस.पी. कन्सट्रक्टेड वेट लैण्ड डकवीड प्लान एवं वेस्ट वाटर ट्रीटमेंट प्लान एवं ठोस कचरा प्रबन्धन में नाडेप कम्पोज पिट, आरआरसी प्लास्टिक वेस्ट मैनेजमेंट यूनिट आदि स्थापित किये जाते हैं। संग्रह के लिए आवश्यक सामग्री तथा ट्राई साईकल पुशकार्ट कचरा पात्र सफाई उपकरण सुरक्षा उपकरण इत्यादि डीपीआर अनुसार उपलब्ध करवाये जाते हैं।
जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्री सुराणा ने बताया कि स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण योजना अन्तर्गत आस-पास के गांव को स्वच्छता के लिये प्रेरित करने के लिए प्रत्येक पंचायत समिति से एक-एक गाव को लाईट हाऊस/आदर्श गांव के रूप में विकसित किया जा रहा है।
सामुदायिक स्वच्छता परिसरों का अनुमोदन
उन्होंने बताया कि मिशन ओडीएफ प्लस के तहत जिले की सभी ग्राम पंचायत मुख्यालय पर सामुदायिक स्वच्छता परिसरों का अनुमोदन किया गया। कुल अनुमोदित 1200 सामुदायिक स्वच्छता परिसरों में से 874 का निर्माण कार्य पूर्ण कर दिया गया है। जिले में कुल शौचालय विहीन 30 आंगनवाड़ी केन्द्रां में से 35 आंगनवाड़ी केन्द्रो में एफ.एफ.सी मद से शौचालय स्वीकृत कर लिये गये हैं, जिनमें से 96 का निर्माण पूर्ण कर लिया गया है। वित्तीय वर्ष 2023-24 में कुल जियोटेग 5320 में से 4635 व्यक्तिगत शौचालयों के लाभार्थियों का भुगतान कर दिया गया है।
उन्होंने बताया कि सीएसआर मद से प्राप्त 15 ई-रिक्शा 10 पंचायत समितियों के 14 गांवों में घर-घर का संग्रहण के लिए दिये गये हैं। वर्तमान में गांव में घर-घर कचरा संग्रहण का कार्य सम्पादित किया जा रहा है। बड़ी ग्राम पंचायतों में एफ.एफ.सी मद से टेण्डर के द्वारा घर-घर कचरा संग्रहण किया जा रहा है। शेष ग्राम पंचायतों में जेम पोर्टल द्वारा ठोस तरल कचरा प्रबन्धन के लिए डी. पी आर अनुसार सामग्री क्रय कर घर-घर कचरा संग्रह इसी वित्तीय वर्ष में प्रारम्भ करने का लक्ष्य रखा गया है। सुराणा ने बताया कि अभियान के तहत जिले को ओडीएफ घोषित करने के लिये विभिन्न स्तर पर तकनीकि एवं पंचायती राज संस्थाओं के व्यक्तियों को सम्मलित करते हुए विभिन्न प्रकार के प्रचार-प्रसार कार्यक्रम गोष्ठियां पंचायत समिति स्तर पर समीक्षा बैठक का आयोजन किया गया।